आइए जानते हैं, महेंद्र सिंह धोनी क्यूँ है इतना मशहूर 🏏 Why is Mahendra Singh Dhoni so famous ?
महेंद्र सिंह धोनी जो हैं वह टेस्ट क्रिकेट से संन्यास (Retirement from test cricket) लेने के बाद भी अभी तक भारत के सबसे कामयाब क्रिकेटर (Successful cricket) बने हुए हैं| वनडे टीम के कप्तान धोनी 7 जुलाई को अपना 36वां जन्म दिन मनाने वाले हैं| महेंद्र सिंह धोनी भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान और महानतम खिलाड़ी रह चुके हैं। धोनी के नाम दो बार भारत को विश्व कप ( World Cup) जिताने का रिकॉर्ड है और एक बार की और बात है जब आईसीसी चैंपियन ट्रॉफी जीतने का रिकॉर्ड (Trophy winning record) भी धोनी के नाम ही है। आज की इस पोस्ट में हम कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के बारे में आपको जानकारी देने आए हैं। महेंद्र सिंह धोनी का नाम तो आज सभी लोग जानते हैं| धोनी भारत के एक बेहद मजबूत मध्यवर्गीय साधन परिवार के हैं। परन्तु साधारण परिवार (Simple family) से होने के बाद भी धोनी ने ना केवल अपना बल्कि अपने माता पिता और परिवार का नाम रोशन किया है। या उनकी क्रिकेट के प्रतीक अधिक मेहनत और लगन (Hard work and dedication) का ही नतीजा है
महेंद्र सिंह धोनी का जीवन Life of Mahendra singh dhoni
महेंद्रसिंह धोनी का जन्म एक मध्यवर्ती परिवार में रांची, झारखंड में 7 जुलाई 1981 को हुआ था। धोनी के पिता का नाम पान सिंह धोनी और उनकी मां का नाम देव की धोनी है। धोनी ने अपनी शुरुआत शिक्षा रांची के जवाहर विद्या मंदिर स्कूल से की। धोनी के पिता रांची में स्टील बनाने वाली कंपनी में काम करते थे।
कैरियर घरेलू अंतर्राष्ट्रीय Career Domestic Interntional
1995 1998 के दौरान धोनी ने कमांडो क्रिकेट क्लब में अपनी विकेटकीपिंग का कौशल दिखाया और उन्हें 1997 987 के लिए विनू मांकड ट्रॉफी अंडर 16 चैंपियनशिप के लिए चुना गया जहां उन्होंने उम्दा प्रदर्शन किया। धोनी ने अपने प्रोफेशनल क्रिकेट करियर की शुरुआत सन 1998 बिहार अंडर-19 टीम से की। 1999 2000 में धोनी ने बिहार रंजी टीम में खेल कर अपना प्रदार्पण किया । देवधर ट्रॉफी दिलीप ट्रॉफी और इंडिया एमेनिया टूर में किए गए
महेंद्र सिंह धोनी का प्रारंभिक जीवन
Early life of Mahendra singh dhoni
महेंद्र सिंह धोनी का परिवार मूलत उत्तराखंड के अल्मोड़ा जिले के लवली गांव के रहने वाले हैं।
धोनी के जो पिता हैं पान सिंह, उनको धोनी को परिवार की आर्थिक स्थिति में सुधार करने की वजह से उत्तराखंड से निकलकर झारखंड रांची आना पड़ा।
रांची आने के बाद धोनी के पिता MECON कंपनी के जूनियर मैनेजमेंट वर्ग से काम करने लगे।
रांची में धोनी का परिवार कंपनी के जरिए दिए गए सरकारी क्वार्टर कमरे में रहता था धोनी की मां देवकी धोनी एक साधारण हाउस वाइफ है।
क्रिकेट में आने से पहले धोनी के बाल जो थे वह लंबे हुआ करते थे एक बार उन्होंने इंटरव्यू में बाल लंबे रखने का कारण बताया था कि वह अपने पसंदीदा स्टार जॉन इब्राहिम की तरह दिखना चाहते थे।
रांची में धोनी ने (द ए वी जवाहर विद्या मंदिर श्यामली) अब जेवीएम विद्यालय मंदिर से अपनी प्रारंभिक स्कूली शिक्षा को पूरा किया|
धोनी को बचपन से ही पढ़ने से जायदा खेलों में रुचि थी स्कूल में बैडमिंटन और फुटबॉल खेला करते थे।
स्कूल में होने वाली प्रतियोगिता में धोनी ने बैडमिंटन और फुटबॉल दोनों खेल का प्रतिनिधित्व किया है।
धोनी जिले क्लब में खेले जाने वाले फुटबॉल के गेम के टीम के गोलकीपर भी रह चुके हैं।
दसवीं करने के बाद धोनी ने क्रिकेट की तरफ ध्यान देना शुरू किया और एक बेहतर विकेटकीपर के रूप में उभरे।
धोनी ने अपनी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट की पहल 2 दिसंबर 2004 को पाकिस्तान के खिलाफ की थी।
इसी तरह धोनी ने अपना पहला वनडे मैच 23 दिसंबर 2004 को बांग्लादेश के अगेंस्ट खेला था।
धोनी ने पहला मैच t20 क्रिकेट मैच 1 दिसंबर 2000 को दक्षिण अफ्रीका के अगेंस्ट खेला था।
धोनी बतौर खिलाड़ी के रूप में अपनी घरेलू टीम बिहार से वर्ष 1999 से लेकर वर्ष 2004 तक क्रिकेट को खेल चुके हैं।
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